बरहज, देवरिया। स्थानीय बाबा राघवदास भगवानदास स्नातकोत्तर महाविद्यालय आश्रम बरहज देवरिया के शिक्षकों ने उच्च शिक्षा निदेशक द्वारा अशासकीय महाविद्यालयों के छात्र छात्राओं शिक्षकों और कर्मचारियों के लिए बायोमैट्रिक उपस्थिति अनिवार्य किए जाने संबंधी आदेश के विरोध में काली पट्टी बांधकर महाविद्यालय में शिक्षण कार्य किया और माननीय मुख्यमंत्री तथा उच्च शिक्षा निदेशक के नाम का प्रतिवेदन प्राचार्य को सौप कर इस आदेश का विरोध किया ।

प्रदर्शनकारी शिक्षकों का कहना था कि मिल के मज़दूर की तरह महाविद्यालय के शिक्षकों को घंटों में बाँधने का यह प्रयास शिक्षकों के सम्मान पर कुठाराघात है ।यदि सचमुच सरकार उच्च शिक्षा के गुणवत्ता में सुधार के प्रति दृढ़ संकल्पित है तो प्रदेश के सभी वित्तपोषित और स्ववित्तपोषित महाविद्यालयों में यह व्यवस्था समान रूप से लागू करने का साहस दिखाए ।प्रदेश के उच्च शिक्षा में पंचानबे प्रतिशतभागीदारी रखने वाले स्ववित्तपोषित महाविद्यालयों में कितने छात्र छात्राएँ पढ़ने आ रहे हैं और कितने अनुमोदित शिक्षक पढ़ा रहे हैं यह बात किसी से छुपी नहीं है ।

लेकिन इस तरह के अधिकांश महाविद्यालय चुकी सत्तापक्ष और विपक्ष के बड़े नेताओं द्वारा संचालित हैं इसलिए उन्हें लाभ पहुँचाने के दृष्टि से अशासकीय महाविद्यालयों के साथ यह खड़यन्त्र किया जा रहा है ।जिसे महाविद्यालय शिक्षक बर्दाश्त नहीं करेंगे ।गोरखपुर विश्वविद्यालय से संबद्ध महाविद्यालय शिक्षक संघ के आवाहन पर आज स्थानीय महाविद्यालय के शिक्षकों ने भी काली पट्टी बांधकर अध्यापन कार्यक् करते हुए विरोध प्रदर्शित किया ।

प्रदर्शनकारियों ने मुख्य रूप से प्रोफ़ेसर अजय कुमार मिश्र प्रोफ़ेसर दर्शना श्रीवास्तव प्रोफेसर आरती पांडे प्रोफ़ेसर विजय प्रकाश पांडे डॉक्टर सूरज प्रकाश गुप्त डॉक्टर अमित चतुर्वेदी डॉक्टर अब्दुल हसीब डॉक्टर गायत्री मिश्र डॉक्टर आभा मिश्रा डॉक्टर बृजेश यादव डॉक्टर सज्जन गुप्ता डॉ प्रज्ञा त्रिपाठी डॉक्टर अजय बहादुर की आदि मुख्य रूप से उपस्थित रहे।

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