बरहज, देवरिया। बरहज तहसील क्षेत्र के अंतर्गत बरौली चौराहे पर 13 दिवसीय श्री राम कथा का आयोजन किया गया है। कथावाचक स्वामी पगलानंद उधो जी महाराज के द्वारा भगवान की मंगलमय कथा का रसास्वादन निरंतर 13 दिनों तक महाराज जी के मुखारविंद से क्षेत्र के आसपास की जनता श्रवण करेगी आज कथा के प्रथम दिवस पर श्री सतयुग कलयुग द्वापर और त्रेता चारों युगों पर चर्चा करते हुए कहा कि सृष्टि में यही चारों युग श्रेष्ठ के आधार हैं सतयुग का आधार सत्य था जिसको निभाना के लिए राजा हरिश्चंद्र पत्नी सहित बिक गए और राजा शिवि ने कबूतरों की प्राण की रक्षा के लिए अपने शरीर को टुकड़े-टुकड़े में विभक्त कर दिया त्रेता युग का आधार त्याग था रामचरितमानस से त्याग की चर्चा करते हुए महाराज श्री ने कहा कि भरत जैसे संत ने राजसत्ता का त्याग कर नंदीग्राम में अपने जीवन को व्यतीत किया त्रेता त्याग का युग रहा है।
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द्वापर युग दुविधा में बीत गया भगवान कृष्ण के जन्म उत्सव से बोध कराते हुए कहा कि मैं ही ब्रह्म हूं यह बात गीता के उपदेश से उन्होंने सिद्ध कर दिया की जीव दुविधा में ना रहे। कलयुग पर चर्चा करते हैं उन्होंने कहा कि कलयुग केवल हरि गुण गाह गावत नर पावही भव थाहा। आगे उन्होंने बताया कि कलयुग केवल नाम अधारा, सुमिरि सुमिरि नर उतरही पारा, कलयुग में केवल नाम ही एक आधार है जो जीव को भवसागर से पार कर सकता है इस अवसर पर कार्यक्रम के आयोजन पंकज कुमार सिंह रामनिवास उपाध्याय गजेंद्र शुक्ला श्री प्रकाश तिवारी रामकृपाल मिश्रा चंद्रभान सिंह रामेश्वर सिंह सैकड़ो की संख्या में श्रोता उपस्थित रहे।
कथा मंच पर महाराज श्री पर पुष्पों की वर्षा की गई।